नूंह नगर परिषद में स्टाफ की कमी से विकास कार्य प्रभावित, अन्य नगरपालिकाओं में भी स्थाई स्टाफ की मांग

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Development work affected due to shortage of staff in Nuh Municipal Council

सुरेन्द्र दुआ,नूंह:

भाजपा- जजपा गठबंधन सरकार ने लींक से हटकर जिला मुख्यालय नूंह नगरपालिका को नगर परिषद बनाकर नपा कार्यकाल के बने 13 वार्डों के करीब 10,500 मतदाताओं के आधार पर नगर परिषद का चुनाव कराके जजपा कोटे की सीट पर वार्ड नं-9 से अध्यक्ष पद के प्रत्याशी संजय मनोचा की ताजपोशी भी करा दी गई। लेकिन उनके खिलाफ दिल्ली पुलिस द्वारा मामला बना देने से निकाय निदेशालय ने उनको हटाने के आदेश जारी कर दिये, ताकि कोई किसी भी तरह की कोई बाधा सामने ना आ सके, क्योकि मामला दर्ज होने के बाद अदालत ने उन्हें सलाखों के पीछे रखने के आदेश दे दिये थे।

नप अध्यक्ष का पद रिक्त होने के बाद व्यवस्था गड़बड़ाई

उधर, नप अध्यक्ष का पद रिक्त होने के बाद व्यवस्था गड़बड़ाने लगी और वार्ड नं-10 से महिला पार्षद रीतू कुमारी गुप्ता के उपाध्यक्ष बनने के बाद उन्हें अस्थाई तौर से अध्यक्ष पद का कार्यभार मिल गया था, लेकिन लम्बे समय से स्थाई स्टाफ से जूझ रही नगर परिषद की व्यवस्था की राह में इससे कोई सुधार नहीं लाया जा सका है। नप के पास कार्यकारी अधिकारी, सचिव व लिपिक समेत अन्य पद लम्बे समय से रिक्त रहने से कामकाज बुरी तरह से प्रभावित हो रहा है। शहर के पार्षदों व गणमान्यों की माने तो सरकार ने नूंह को नपा से नप बनाकर एक सराहनीय कार्य किया है लेकिन नप बनने से शहर की सफाई व्यवस्था,जलभराव के अलावा नप से जुड़े अन्य विकास कार्य आदि कराने के लिए लोगों को ऐडिय़ा घिसनी पड़ रही हैं। नप में स्थाई कर्मचारी कम व ठेकेदार के कर्मी अधिक रहने से लम्बे समय की बिगडै़ल व्यवस्था काबू में नहीं आ पा रही हैं, खासकर सरकार की योजनाओं को क्रियान्वयन कराने के लिए सबसे बड़ी बाधा आड़े आ रही हैं।

नपा सचिव, लेखाकार व लिपिक समेत अन्य सरकारी कार्यालय के पद रिक्त

पार्षद समयचंद प्रजापति, सुमित अदलखा, रहीश अहमद, नियामत , सलीम खान, पार्षद पति गौरव गुप्ता के अलावा राजू कटारिया, संजय कुमार, रवि  आदि ने बताया कि नप के पास कार्यकारी अधिकारी, सचिव व लिपिक समेत अन्य पद लम्बे समय से रिक्त रहने से कामकाज बुरी तरह से प्रभावित हो रहा है जिससे शहर में साफ-सफाई, जलभराव, रास्ते आदि सहित अन्य विकास कार्य नहीं हो पा रहे हैं। इस बारे में नगर परिषद के कनिष्ठ अभियंता ने माना कि नप अध्यक्ष की जगह उपाध्यक्ष के पास यहां का कार्यभार है और साथ ही कहा कि नप के पास स्थाई कार्यकारी अधिकारी , सचिव व लिपिक समेत अन्य पद रिक्त होने से कामकाज प्रभावित हो रहा है। उधर,दूसरी तरफ तावडू के उप मण्डलाधीश, नपा सचिव, लेखाकार व लिपिक समेत अन्य सरकारी कार्यालय के पद रिक्त है। इससे शहर व ग्रामीण इलाकों का कामकाज बुरी तरह से प्रभावित हो रहा है। उप मण्डलाधीश के मंगलवार को पदभार संभालने की उम्मीद लगी थी लेकिन अभी तक उनके द्वारा चार्ज नहीं संभाला गया है।

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