Constitution Debate Updates: हमारा संविधान सबसे समावेशी : किरेन रिजिजू

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Constitution Debate Updates: हमारा संविधान सबसे समावेशी है: किरेन रिजिजू
Constitution Debate Updates: हमारा संविधान सबसे समावेशी है: किरेन रिजिजू

Constitution Debate Today Updates, (आज समाज) नई दिल्ली: भारतीय संविधान को अपनाने की 75वीं वर्षगांठ पर संसद में शुक्रवार से जारी विशेष चर्चा के दूसरे दिन आज केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू (Union Parliamentary Affairs Minister Kiren Rijiju) ने लोकसभा में सरकार की ओर से दलील पेश कीं।  उन्होंने देश संविधान को दुनिया में सबसे समावेशी बताया है।

हर व्यक्ति को अपने धर्म का पालन करने की स्वतंत्रता

किरेन रिजिजू ने ‘संविधान की गौरवशाली यात्रा के 75 वर्षों पर चर्चा’ के दौरान अपने भाषण की शुरुआत संविधान निर्माण समिति और इसके निर्माण में योगदान देने वाले अन्य नेताओं को श्रद्धांजलि देकर की। संसदीय कार्य मंत्री ने इस बात पर जोर दिया, हमारा संविधान यह हर व्यक्ति को अपने धर्म का पालन करने की स्वतंत्रता की गारंटी देता है। इसके अलावा यह सुनिश्चित करता है कि हर नागरिक को अपनी बात कहने का अधिकार हो।

संविधान के प्रावधानों में अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा

किरेन रिजिजू ने यह भी बताया कि संविधान के प्रावधानों में मुसलमानों सहित अल्पसंख्यकों के लिए समान अधिकारों की रक्षा की गई है। इस तरह के सुरक्षा उपाय दुनिया भर में दुर्लभ हैं। इसलिए यह शरण लेने के लिए भारत को पसंदीदा विकल्प बनाता है। उन्होंने राष्ट्र को एकजुट करने में संविधान की भूमिका पर जोर दिया। साथ ही भारतीय संविधान को सबसे लंबा और सबसे सुंदर बताया।

अधिकारों की रक्षा करने वाले कानूनों की सराहना की

संसदीय कार्य मंत्री ने अनुच्छेद 15, 16, 25, 29 और 30 का उल्लेख करते हुए समानता, धर्म की स्वतंत्रता और भाषाई व सांस्कृतिक अल्पसंख्यकों की सुरक्षा पर उनके फोकस को उजागर किया। उन्होंने भारतीय ईसाई विवाह अधिनियम, मुस्लिम महिला विवाह अधिकार संरक्षण अधिनियम, दरगाह ख्वाजा साहब अधिनियम, आनंद विवाह अधिनियम और पारसी विवाह और तलाक अधिनियम सहित अल्पसंख्यक अधिकारों की रक्षा करने वाले कानूनों की भी सराहना की।

विकसित भारत के संकल्प की दिशा में काम कर रही सरकार

रिजिजू ने कहा कि वैश्विक स्तर पर इस तरह की सुरक्षा दुर्लभ है, जो अल्पसंख्यकों के कल्याण के लिए भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार संविधान की भावना को ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास या सबका प्रयास’ के मंत्र के साथ आगे बढ़ा रही है और ‘विकसित भारत 2047’ के संकल्प को प्राप्त करने की दिशा में काम कर रही है।

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