(Charkhi dadari News) चरखी दादरी। गांव कितलाना निवासी 107 वर्षीय संदोखी देवी का बुधवार को निधन हो गया। उनके निधन पर अनेक लोगों ने दु:ख जताया तथा संदोखी देवी के निधन को समाज के लिए अपूरणीय क्षति बताया है। गौरतलब होगा कि संदोखी देवी की उम्र 107 वर्ष होने के बावजूद भी उन्हें किसी प्रकार की कोई बीमारी नहीं थी तथा यह सब उनके देशी खान-पान के कारण था। संदोखी देवी को उनके बड़े पुत्र सेवानिवृत्त सैनिक चंद्र सिंह ने मुखाग्नि दी।
देशी खान-पान व सादा रहन-सहन के चलते अंतिम समय तक बीमारियों से दूर रही संदोखी देवी
यह जानकारी संदोखी देवी के छोटे बेटे मास्टर सुरेंद्र सिंह भौंसले ने दी। उन्होंने बताया कि उनकी माता संदोखी देवी देशी खान-पान व सादा रहन-सहन को तवज्जो देती थी तथा उसी का परिणाम था कि उन्हें अंतिम समय तक कोई भी बीमारी नहीं थी। उन्होंने बताया कि उनकी माता ने हमेशा अपने पूरे परिवार को एक माला में पिरोकर रखा तथा उनके दिए गए संस्कारों की बदौलत ही पूरा परिवार आज भी संयुक्त एवं खुशहाल है।
वहीं संदोखी देवी के निधन पर शोक जताने पहुंचे लोगों ने भगवान से दिवंग्त आत्मा का अपने चरणों में स्थान देने की कामना की। संदोखी देवी अपने पीछे भरा पूरा परिवार छोड़ गई है, जो कि 4 पीढिय़ों का है। जिसमें शिक्षा के साथ-साथ चिकित्सक,इंजीनियर, बैक अधिकारी, पुलिस अधिकारी, एयरफोरस, आर्मी, कमांडो, शिक्षक, अधिवक्ता, पशुचिकित्सक, कृषि, हरियाणा और केंद्र सरकार में सरकारी कर्मचारी कार्यरत हैं।
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