Chandigarh News: राशियों को दर्शाती मूर्तियों के शिल्प से सजेगा कला ग्राम 

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Chandigarh News: नॉर्थ जोन सांस्कृतिक केंद्र के तत्वाधान 20 वां राष्ट्रीय मूर्ति कला शिवर कला ग्राम के प्रांगण में 26 नवंबर तक सिमट जाएगा।अलग अलग राज्यों से चुनिंदा 13 विशिष्ट मूर्ति कार इस शिविर में आमंत्रित किए गए।चंडीगढ़ , पंजाब, दिल्ली,  , केरेला, गुजरात, महाराष्ट्र, लद्दाख, श्री नगर और बिहार राज्यों से यह मूर्ति कार अपने इस हुनर और प्रतिभा से मूर्तियों के बेजोड़ शिल्प कला निर्माण को प्रमाणित करते हैं। इस शिविर को राशियों पर केन्द्रित रखा गया था एवम् 12 कलाकारो को एक एक राशि की मूर्ति बनाने का अवसर दिया गया। एक मूर्ति कार को फाइबर का पूर्ण राशि चक्र बनाने का ज़िम्मा दिया गया। 4 से 23 तारीख तक का यह शिविर फिर तीन दिनों के लिए बड़ा कर 26 नवंबर तक कर दिया गया। सभी मूर्तियों पर काम लग भग पूरा है चुका है  बस उत्तम  कला प्रस्तुति हेतु जो रंग भाव अलंकृत चाहिए वह काम अपने अंतिम बिंदु पर है।
मूर्ति शिल्प कार पत्थर को अपने स्वप्निल मन से छवि में ढाल उसे आकृति देता है फिर वह उससे बतियाता  भी है उसे संवारता भी है।
संजीदा हो उठे पत्थर से वह गुफ्तगू भी करता है फिर उसके  वह सब भाव और चिन्ह चेहरे पर पढ़  ख़ुद संतुष्ट लिए  आत्म मुग्ध हो जाता है हां सिर्फ सांस नहीं होती मूर्ति में  वरना उस अपने निर्मित दोस्त  सा कोई और हो ही नहीं सकता ऐसा शिल्प कार सिमर जीत कहते हैं जो सिंह की राशि से अपनी कलाकृति के सूक्ष्म रूप रेखा से उत्तम मूर्ति निर्माण प्रक्रिया को प्रभाशित कर रहे थे । सभी राशियों को पत्थर से उकेरा गया है लेकिन पूर्ण राशि चक्र फाइबर से बनाया गया है।सुंदर गोला कार राशि चक्र  खूबसूरत तो है ही यह सफाई से ब्लॉक बनाकर तराशा गया है।जगदीप जोली दिल्ली से फाइन आर्ट्स में  एम ए करने के बाद  अब आर्ट्स के प्रशिक्षक है।उनका मानना है के कला का हुनर तो जन्म से होता है और वह अपने पिता के हुनर और अपने बेटे के  हुनरमंद होने को भी भगवान की देन मानते है। उनका कहना था हेर कला अभ्यास मांगती है और हर मेहनत फल देती है। वह इस कला को समर्पण और जज्बे से गूंथा विधा का स्वरूप समझते है।इस उपक्रम के प्रोग्राम अधिकारी यशवीर शर्मा सभी कलाकारों के हुनर के कायल और मूर्तियों के निर्माण से संतुष्ट लगे। कला ग्राम में वह विशिष्ट मूर्तियों के संग्रह पर बात करते  भावुक है उठते है।उनका कहना है ऐसा मूर्ति संग्रह कहीं और नहीं है और उनको संभालने के लिए कला ग्राम के सामर्थ्य  पर भी वह आश्वस्त नजर आए। इस विचार वान और हुनर मंद शिवर के आयोजन का औचित्य सार्थक उदेश्य लिए सफलता की कहानी कहता है। नॉर्थ जोन सांस्कृतिक केंद्र को इसके आयोजन के लिए बधाई।
नीरज रायजादा
कला समीक्षक