Chandigarh News: उत्तर क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र, पटियाला एवं जेके डोगरा सभा के संयुक्त तत्वाधान में बसंत पंचमी पर्व मनाया गया

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Chandigarh News: चंडीगढ़ आज समाज चंडीगढ़ प्राकृतिक सौंदर्य एवं खुशहाली समृद्धि का प्रतीक बसंत पंचमी देश भर में बड़े ही हर्ष और उल्लास के साथ मनाया गयायह त्योहार बसंत ऋतु के आगमन का प्रतीक है।
 इस समय प्रकृति अपने पूरी गरिमा में होती है। बसंत पंचमी का त्योहार केवल प्रकृति का उत्सव नहीं है, बल्कि यह ज्ञान और विद्या की देवी मां सरस्वती की पूजा का भी दिन है। इसी कड़ी में उत्तर क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र, पटियाला एवं जेके डोगरा सभा के संयुक्त तत्वाधान में  कलाग्राम, मनी माजरा, चंडीगढ़ में  बसंत पंचमी समारोह बड़े ही हर्ष उल्लास  के साथ मनाया गया। कार्यक्रम के दौरान डोगरा समुदाय के सदस्यों एवं अन्य गनमान्य लोगों ने हिस्सा लिया।
इस समारोह में कविंदर गुप्ता, (जम्मू और कश्मीर के पूर्व उपमुख्यमंत्री) बतौर मुख्य अतिथि  एवं सुश्री निधि डोगरा, (प्रसिद्ध डोगरी कवि) हरप्रीत कौर बबला, चंडीगढ़ की माननीय मेयर, पी.सी. डोगरा आईपीएस, (पूर्व डीजीपी पंजाब) और डॉ. एच.के. बाली (कार्डियोलॉजी लिवासा अस्पताल, मोहाली के निदेशक) बतौर विशेष अतिथि उपस्थित रहे। उत्सव में पारंपरिक डोगरा संगीत, नृत्य प्रदर्शन और पतंग उड़ाने की सदियों पुरानी परंपरा  का मंचन एवं प्रदर्शन किया गया।
कार्यक्रम की शुरुआत ज्ञान और बुद्धि की देवी सरस्वती की पूजा  अर्चना के साथ शुरू हुई। प्रार्थना के बाद, सांस्कृतिक कार्यक्रमों में पारंपरिक डोगरा लोकगीत और नृत्य प्रस्तुत किए गए, जिसमें डोगरा विरासत का सार समाहित देखने को मिला। जीवंत पारंपरिक परिधान पहने प्रतिभागियों ने वसंत ऋतु और सीखने की भावना का जश्न मनाने के लिए एक साथ आकर जीवंत और4 उत्सवी माहौल को और भी बढ़ा दिया।
उत्सव का समापन एक रमणीय डोगरा धाम के साथ हुआ, जिसमें राजमा, चावल, दाल, अंबल और मीठे चावल जैसे पारंपरिक व्यंजन परोसे गए, साथ ही मेहमानों को कुरकुरे पकौड़े भी बांटे गए। जेके डोगरा सभा के अध्यक्ष ने प्रतिभागियों का गर्मजोशी से स्वागत किया और डोगरा संस्कृति में बसंत पंचमी के महत्व पर जोर दिया, समुदाय के भीतर एकता को बढ़ावा देने में इसकी भूमिका को रेखांकित किया।
इस वर्ष का कार्यक्रम, जो लंबे समय से चली आ रही परंपरा को जारी रखता है, एक बड़ी सफलता के रूप में स्वागत किया गया, जिसने समुदाय को परंपरा और एकता दोनों का जश्न मनाने के लिए एक साथ लाया। समारोह के दौरान मनीमाजरा प्रेस क्लब के प्रधान गोविंद परवाना एवं क्लब के अन्य सदस्यों को भी सम्मानित किया गया। गौरतलब  की जेके डोगरा सभा अभी भी अपने संस्कृति एवं संस्कार को अपने में समाहित किए हुए हैं। इस सभा ने अपनी कला को ही जीवंत नहीं रखा बल्कि युवाओं के लिए भी एक प्रेरणा का स्तोत्र बने हुए हैं। जोकि समाज के लिए एक मिसाल कायम रखे हुए हैं।