Aaj Samaj (आज समाज), Blood Donation Camp at Kripal Ashram, मनोज वर्मा,कैथल: मानवता की सेवा को लेकर रक्तदान को सब से बड़ा महादान माना गया है। रक्त का कोई विकल्प नहीं है और रक्त एक इंसान द्वारा अपने शरीर से दान किया जाता है। जो बीमार और जरूरतमंद इंसान की जिंदगी को बचाने में अहम् भूमिका निभाता है। संतो के जन्म दिवस के उपलक्ष्य में संस्थाओं द्वारा रक्तदान शिविर का आयोजन करके मानवता की सच्ची सेवा की जाती है। इस कड़ी में संत बाबा सावन सिंह महाराज के पावन जन्मोत्सव के उपलक्ष्य में कृपाल आश्रम प्रताप गेट कैथल परिसर में 22 वां विशाल रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। भारतीय रेड क्रॉस सोसाइटी के सौजन्य से आयोजित इस रक्तदान शिविर के मुख्य अतिथि हरियाणा हैफेड के चेयरमैन कैलाश भगत और रेड क्रॉस सोसाइटी के जनरल सेक्रेटरी डॉ मुकेश अग्रवाल ने रक्तदाताओं को बैच लगाकर, प्रमाणपत्र और स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। इस विशाल रक्तदान शिविर में सावन कृपाल रुहानी मिशन से जुड़े लगभग एक सौ पुरुष और महिला श्रद्धालुओं ने बड़ी श्रद्धा और उत्साह से रक्तदान किया।
हैफेड के चेयरमैन कैलाश भगत ने कहा कि संत महापुरुषों के जन्म दिवस पर रक्तदान शिविर का आयोजन करना एक बहुत ही अच्छा मानवता की सेवा का पुण्य कार्य है। उन्होंने कहा कि रक्तदान को महादान कहा गया है। क्योंकि रक्त का कोई विकल्प नहीं और एक इंसान ही रक्तदान करके दूसरे जरूरतमंद इंसान की जिंदगी को बचा कर मानवता की सेवा करता है। उन्होंने कहा कि हर व्यक्ति को अपने जीवन में बार बार रक्तदान करना चाहिए। उन्होंने कहा कि इंसान का खून उस की नाडिय़ो में बहना चाहिए नालियों में नहीं। रेड क्रॉस सोसाइटी के जनरल सेक्रेटरी डॉ मुकेश अग्रवाल ने रक्त दाताओं से आग्रह किया कि समय समय पर रक्तदान अवश्य करें।
उन्होंने कहा कि भारतीय रेड क्रॉस सोसाइटी पूरे हरियाणा में लोगों की भलाई के लिए कार्य कर रही है और रक्त की कमी से किसी की जान ना जाए इसलिए जिला रेडक्रॉस की शाखाएं समय-समय पर रक्तदान कैंप लगा रही हैं। उन्होंने बताया की एक रक्तदाता तीन जिंदगियों को बचाता है और उस रक्तदाता के ब्लड रिलेशन बढ जाते हैं। डॉ मुकेश अग्रवाल ने बताया की हरियाणा रेड क्रॉस सोसाइटी पूरे हरियाणा में एक सीपीआर की मोबाइल वैन चंडीगढ़ से रवाना की गई है। जो सभी जिलों में 2 दिन रहेगी और यह मोबाइल वैन जिला कैथल में 2 अगस्त को सुबह आरकेएसडी कॉलेज से झंडी दिखाकर इस वैन को रवाना किया जाएगा। जो पूरे जिले में गांव, शहर ,कॉलेज ,स्कूलों में जगह जगह पर लोगों को सीपीआर के ट्रेनिंग देकर लोगों को जागरुक करने का कार्य करेगी ओर सभी जिलों में 62 स्कूलों में प्रत्येक जिले में फर्स्ट एड की ट्रेनिंग का कार्य सुचारू रूप से चल रहा है। जिसे जिला कैथल ने 45 स्कूलों का अपना प्रशिक्षण पूरा कर लिया है और 17 स्कूलों का प्रशिक्षण अगस्त माह में पूरा कर लिया जाएगा यह मुहिम लोगों को प्राथमिक सहायता की ट्रेनिंग देकर किसी दुर्घटनाग्रस्त व्यक्ति की जान बचाने में अहम रोल अदा करती है और यदि किसी व्यक्ति को जिसका सांस रुक गया है उसको सीपीआर जल्द से जल्द मिल जाए तो उसकी जान बचाई जा सकती है।
यही रेडक्रॉस का मुख्य लक्ष्य है। रक्त दाताओं से उनके अनुभव सांझा किए तो रक्त दाताओं ने कहा कि रक्तदान करके मन को सुकून और शांति अनुभव होती है। अत: सभी ने 18 साल की उम्र पूरी होने के बाद एक बार जीवन में रक्तदान अवश्य करना चाहिए। सावन कृपाल रुहानी मिशन के सेवादारों कृष्ण लाल आहूजा , गुलशन नंदा , बी डी चावला , चुनी लाल , सुभाष चुग , रूप लाल गंभीर , आत्म प्रकाश गुलाटी , मनोज पांडे , नन्द लाल गुलाटी ने कहा कि बाबा सावन सिंह महाराज के पावन जन्मोत्सव के उपलक्ष्य में कृपाल आश्रम में हजारों श्रद्धालुओं ने सत्संग को बड़ी श्रद्धा और उत्साह से सुना। उन्होंने कहा कि आश्रम में पुरुष और महिला सेवादारों ने रक्तदान शिविर , लंगर और पूरे आयोजन में बड़ी निष्ठा भावना से सेवा की।
कैथल के प्रमुख समाज सेवी शिव शंकर पाहवा और अशोक भारती ने कहा कि रक्तदान करके इंसान मानवता की सेवा करने में अहम् भूमिका निभाता है और रक्तदान करके उस बेहद मानसिक संतुष्टि मिलती है। गुड्डी नामक नेत्रहीन रक्तदात ने कहा कि उसे बहुत ही गर्व और ख़ुशी है कि वह अपने जीवन में अब तक 17 बार रक्तदान कर चुकी है। उसने कहा कि मैं मानवता की सेवा के लिए और कुछ नहीं कर सकती। लेकिन अपना रक्तदान करके इंसान की जिंदगी जरूर बचा सकती हुॅ। रक्तदाता फलक , किरण , डिंकी और राकेश ने कहा कि उन्होंने आज रक्तदान किया है। जिससे उन्हें बहुत ही ख़ुशी और गर्व की अनुभूति हो रही है। उन्होंने कहा कि उन द्वारा किये गए रक्तदान से किसी इंसान को जिंदगी मिल जाएगी उस लिए इसे मानवता की एक बड़ी सेवा मानते है।
यह भी पढ़ें : Emerald Head Conference : नांगल चौधरी में पन्ना प्रमुख सम्मेलन
यह भी पढ़ें : Sadhvi Prafulla Prabhashree : धर्म के बिना शासन नहीं चल सकता