- पशुपालन विभाग के उपनिदेशक डा. रविंद्र सहरावत ने गौशाला का निरीक्षण कर की अपील
- अत्यधिक मात्रा में खीर, पुरी, हलवा या रोटी गोधन के लिए है जहर : डॉ . रविंद्र सहरावत
(Bhiwani News) भिवानी। श्राद्ध अमावस को देखते हुए पशुपालन एवं डेयरिंग विभाग पूरी तरह से अल्र्ट एवं गंभीर नजर आ रहा है तथा गौवंश को बचाने के लिए नागरिकों से श्राद्ध की अमावस्या पर गायों को खीर, पुरी, हलवा, रोटी इत्यादि अत्याधिक मात्रा में ना दिए जाने की अपील कर रहे है। गौवंश को बचाने के लिए मंगलवार को स्वयं पशुपालन विभाग के उपनिदेशक डा. रविंद्र सहरावत ने स्थानीय महम रोड़ स्थित गौशाला का निरीक्षण किया।
बीमार गौवंश के लिए उपचार में कोई कमी नहीं रहेगी
इस दौरान उन्होंने बीमार गायों के उपचार की जगह की सफाई व्यवस्था का जायजा लिया तथा रात के समय उपचार के लिए लाईट व्यवस्था का भी अवलोकन किया। उपनिदेशक ने कहा कि बीमार गौवंश के लिए उपचार में कोई कमी नहीं रहेगी। विभाग ने उपचार के लिए दवाइयों की भी व्यवस्था कर ली है। बीमार गायों के लिए अलग से बाड़ा बनाया गया है और उनके ठीक होने पर बाहर खुले में व्यवस्था की जाएगी।
उपनिदेशक डा. रविंद्र सहरावत ने एक बार फिर से शहरवासियों से आग्रह किया कि श्राद्ध की अमावस्या के दिन गायों को खीर, पुरी, हल्वा या रोटी इत्यादि ना खिलाए, क्योंकि यदि प्रत्येक व्यक्ति द्वारा बेसहारा गौवंश को एक रोटी दी जाती है तो हिसाब लगाया जा सकता है कि उस गाय ने पहले कितनी रोटी खाई होगी तथा बाद में कितनी और खाएगी। उन्होंने कहा कि अत्यधिक मात्रा में खीर, पुरी, हलवा या रोटी पशु के लिए जहर का काम करते है और पशु की मौत तक हो जाती है। ऐसे में पितृ तृप्ति के लिए किया जाने वाला धर्म पाप में बदल जाता है।
पशु चिकित्सक डा. विजय सनसनवाल ने कहा कि गायों की सेवा करना उत्तम कार्य है, लेकिन अनजाने में उनकी मौत का कारण बनना पाप का भागीदारी बनाता है। ऐसे में नागरिक श्राद्ध की अमावस्या गायों को विशेषकर सडक़ पर खड़ी बेसहारा गायों को खीर, पुरी, हलवा या रोटी अत्याधिक मात्रा में ना खिलाएं। इस अवसर पर डा. राजेश जाखड़, डा. विजय सनसनवाल, गौशाला विस्तारक मोहनलाल बालेसरा, वीएलडीए कुसुम अग्रवाल, रीतू व अर्जुन आदि उपस्थित रहे।
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