Bharatiya Kisan Union: सरकार जेल में बंद आंदोलनकारी किसानों को जल्द रिहा करे : रतन मान

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भारतीय किसान यूनियन
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  • नहीं तो जेल जाने को किसान तैयार

Aaj Samaj (आज समाज), Bharatiya Kisan Union, प्रवीण वालिया, करनाल, 2 मार्च :
भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के प्रदेशाध्यक्ष रतन मान ने प्रदेश सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि किसान आंदोलन के दौरान बेकसूर किसानों पर दर्ज किए गए मुकदमे वापस लिए जाएं और जेलों में बंद आंदोलनकारी किसानों को जल्द रिहा किया जाए, नहीं तो किसानों के जत्थे जेल जाने के लिए तैयार है।

उन्होंने कहा कि गत दिवस जींद स्थित किसान भवन में आयोजित की गई प्रदेश स्तरीय किसान पंचायत में यह निर्णय लिया जा चुका है। जिसको लेकर करनाल के अर्जुन नगर स्थित किसान भवन में जेल भरों आंदोलन को सफल बनाने के लिए रणनीति तय की गई।

रतन मान कहा कि आने वाली 11 मार्च को सीएम सिटी में सैकड़ों किसानों का जत्था गिरफ्तारी देगा। उन्होंने जेल भरों आंदोलन का खुलासा करते हुए पत्रकारों को बताया कि 11 मार्च को करनाल के 12 सेक्टर स्थित जाट भवन में किसान एकत्रित होकर गिरफ्तारी देने के लिए जिला सचिवालय की ओर कूच करेंगे। उन्होंने कहा कि जेल भरों आंदोलन एक दिवसीय होगा। आगे की रणनीति दिल्ली कूच के बाद तय की जाएगी। इस गिरफ्तारी जत्थे में प्रदेश भर से भाकियू कार्यकर्ता शामिल होंगे। शनिवार को भारतीय किसान यूनियन की जिला स्तरीय आयोजित बैठक की अध्यक्षता वरिष्ठ किसान नेता प्रेमचंद शाहपुर ने की।

किसान पंचायत को प्रमुख तौर पर प्रदेशाध्यक्ष रतन मान, प्रदेश महासचिव भूपेंद्र सिंह लाडी, चेयरमैन यशपाल राणा, जिला संरक्षक बाबू राम डाबरथला, जिला महासचिव सुरेंद्र बेनीवाल ने अपने-अपने विचार रखे। इस दौरान किसानों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर रोष प्रकट किया। बैठक में गिरफ्तार किए गए किसान नेता सोनीपत जिला के गांव कथूरा के युवा किसान नेता अक्षय नरवाल सहित अन्य किसानों को रिहा करने की जोरदार मांग की गई।

किसान नेताओं ने सामूहिक निर्णय लेते हुए कहा कि यदि गिरफ्तार किसानों को रिहा नहीं किया गया तो 11 मार्च को करनाल में भाकियू नेता अपनी गिरफ्तारी देकर जेल भरने का काम करेंगे। किसान नेता रतन मान ने कहा कि हरियाणा से आंदोलन में जा रहे दर्जन भर किसानों पर हत्या के प्रयास सहित संगीन धाराओं में मामला दर्ज कर उन्हें जेल में डाला गया है।

जबकि इन किसानों ने ऐसा कोई जघन्य अपराध नहीं किया है, जिससे उन्हें जेलों में बंद रखा जाए। प्रदेश के अधिकारी कानून का दुरुपयोग करके आंदोलन को दबाना चाहती है, लेकिन किसान झुकने वाले नहीं है। रतन मान ने कहा कि किसान अपना हक लेकर रहेंगे। किसान अपने हकों के लिए दिल्ली कूच करना चाहते है। किसानों को फसलों पर एमएसपी पर खरीद गारंटी का कानून मिल सके।

किसानों पर दर्ज मामले वापस लिए जाएं। लखीमपुर खीरी के दोषियों को कड़ी सजा मिले सहित तमाम मांगों को लेकर आंदोलनरत है। उन्होंने कहा कि 14 मार्च को राष्ट्रीय संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर देशभर के किसान, मजदूर बड़ी संख्या में दिल्ली कूच करेंगे। दिल्ली कूच के लिए किसान पंचायत में किसानों को जिम्मेदारी भी सौंपी गई। यदि सरकार ने उनकी मांगों को पूरा नहीं किया तो पूरे देश का किसान एकजुट होकर आंदोलन को तेज करने का काम करेंगे।

इस अवसर पर शहरी प्रधान कृष्ण जागलान, घरौंडा ब्लॉक अध्यक्ष धनेतर राणा, रणजीत जलमाना, विनोद राणा, सतबीर गढ़ बीरबल, राजकुमार नौेतना, युवा नेता अरुण लाठर, महेंद्र मढ़ान, अंग्रेज लाठर, देवेंद्र सांगवान, भरतरी मान सहित काफी संख्या में किसान मौजूद रहे।

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