Indian Govt On Bangladesh Violence, (आज समाज), नई दिल्ली: बांग्लादेश में राजनीतिक संकट के बीच जारी हिंसक प्रदर्शनों पर काबू पाने के लिए भारतीय सेना वहां जा सकती है। सूत्रों के मुताबिक भारत ने इसके लिए बांग्लादेश सेना प्रमुख जनरल वकर-उस-जमान से संपर्क किया है। बता दें कि उग्र प्रदर्शनों के चलते बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना को पद से इस्तीफा देना पड़ा है और वह अब भारत में रह रही हैं। ऐसी स्थिति में भारत चाहता है कि भारतीय सेना बांग्लादेश पहुंचकर हालात संभाले।
शांति कायम करना वक्त की जरूरत : भारत सरकार
सूत्रों के अनुसार भारत सरकार ने पड़ोसी देश के सैन्य नेतृत्व से कहा है कि बांग्लादेश में शांति एवं कानून व्यवस्था कायम करना वक्त की जरूरत है और इसे जल्द से जल्द कर देना चाहिए। सरकारी सूत्रों ने बताया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से बांग्लादेश के सेना प्रमुख से पहले ही संपर्क किया जा चुका है। पीएम ने बांग्लादेश में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए हरसंभव सहायता देने का भी वादा किया है।
पाकिस्तान के इंटरफेयरेंस की भूमिका की जांच: जयशंकर
एक रिपोर्ट के मुताबिक, सर्वदलीय बैठक में विदेश मंत्री एस जयशंकर से जब विपक्ष ने पूछा कि क्या शेख हसीना को हटाए जाने में पाकिस्तान की कोई भूमिका थी तो उन्होंने पाकिस्तानी राजनयिकों के सोशल मीडिया अकाउंट पर बांग्लादेशी विपक्ष की तस्वीरें होने की बात की ओर इशारा किया। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के इंटरफेयरेंस की भूमिका की अभी भी जांच की जा रही है।
इस्लामवादियों के खिलाफ मजबूत दीवार थीं शेख हसीना
शेख हसीना के बारे में सर्वविदित है कि वे इस्लामवादियों के खिलाफ एक मजबूत दीवार थीं जो इस सबके बीच हुई साजिशों के कारण अब नही रहीं। ऐसे में इस मोर्चे पर भी भारत चाहता है कि वह मजबूती से इस बाबत सक्रिय रहे। बांग्लादेश में मच रहे उत्पात का असर अपने देश पर भी पड़ सकता है। बता दें कि बांग्लादेश भी पाकिस्तान की ही तरह फाइनेंशल क्राइसिस से जूझ रहा है। शेख हसीना के जाने से भारत के लिए मुश्किल स्थिति पैदा हो गई है, क्योंकि अब उसे कट्टरपंथ से जूझना होगा।
भारत पर हो सकता है यह असर
गौरतलब है कि बांग्लादेश और भारत के बीच आयात और निर्यात बहुत होता है। पड़ोसी देश के इस सकंट का भारत के कारोबार पर बुरा असर पड़ सकता है और कई चीजों के दाम महंगे हो सकते हैं। बांग्लादेश से भारत में खेती बाड़ी से जुड़ा सामान, कपड़े, जूते, जूट के सामान, लैदर का सामान, प्रोसेस्ड फूड से लेकर फल-सब्जियां तक आयात की जाती हैं।