Assembly Elections Results: हरियाणा में बीजेपी की जीत आने वाले विधानसभा चुनावों के लिए शुभ संकेत

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Assembly Elections Results: हरियाणा में जीत आने वाले विधानसभा चुनावों के लिए शुभ संकेत
Assembly Elections Results: हरियाणा में जीत आने वाले विधानसभा चुनावों के लिए शुभ संकेत

Assembly Elections Results Impact, (आज समाज), नई दिल्ली: हरियाणा में पूर्ण बहुमत से अकेले भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की जीत कुछ समय बाद देश के अन्य राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों के लिए एक शुभ संकेत की तरह है। इसकी शुरुआत महाराष्ट्र से होगी। इसके बाद झारखंड और फिर देश की राजधानी दिल्ली में चुनाव हो सकते हैं। महाराष्ट्र में इस वर्ष के आखिर तक विधानसभा चुनाव होने हैं। दिल्ली का चुनाव भी झारखंड और महाराष्ट्र के साथ हो सकता है।

जानें क्या कहते हैं राजनीतिक जानकार

राजनीतिक जानकारों का मानना है हरियाणा ने भारतीय जनता पार्टी को इसी साल हुए लोकसभा चुनावों के दौरान सामने आई गिरावट को उलटने का पहला वास्तविक मौका दिया है। उनका कहना है कि हरियाणा में बीजेपी की लगातार तीसरी बार विजय से महाराष्ट्र, झारखंड और फिर दिल्ली में बेहतर प्रदर्शन की नींव रखी जा सकती है।

दिल्ली बीजेपी को मिली यह नई सीख

राजनीतिक जानकारों के मुताबिक हरियाणा में भाजपा के खिलाफ एंटी इनकंबेंसी लहर थी, लेकिन इसके बावजूद पार्टी अकेले जीत दर्ज करने में कामयाबी रही और इस महाविजय ने बीजेपी की दिल्ली इकाई को नई सीख दी है। दिल्ली बीजेपी को इससे सीखने को मिला कि यदि कोर वोटर्स का साथ तो तकदीर बदल सकती है। हालांकि पिछले चुनावों में भी हरियाणा में बीजेपी ने भारी जीत दर्ज की थी फिर भी पार्टी को दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (आप ) से हार का मुंह देखना पड़ा था।

दिल्ली में एंटी इनकंबेंसी जैसी स्थिति तो नहीं पर…

बीजेपी सूत्रों का कहना है कि हरियाणा विधानसभा चुनाव में जीत का फायदा पार्टी को दिल्ली में हर सूरत में मिलना तय है। प्रदेश में पूर्ण बहुमत से जीत के बाद बीजेपी के नेता और वर्कर्स उत्साहित हैं। सूत्रों का कहना है कि हरियाणा की तरह दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी के खिलाफ एंटी इनकंबेंसी जैसी स्थिति तो नहीं है, पर केजरीवाल की आप सरकार की मुफ्त की योजनाओं के आगे पार्टी की प्रत्येक योजना बौना साबित हो रही है।

ओबीसी समुदाय बीजेपी के हमेशा कोर वोटर्स

बीजेपी ने हरियाणा में जो गैर-जाट वोट को एकजुट करने की रणनीति अपनाई है, उसे दिल्ली में भी अजमाया जा सकता है। ओबीसी समुदाय के लोग हमेशा भारतीय जनता पार्टी के कोर वोटर्स रहे हैं। इसी के साथ यह समुदाय अन्य के बजाय बड़ा भी है। यही वजह है कि इनका बीजेपी के पक्ष में एकजुट होना नतीजों में बदलाव ला सकता है।

हरियाणा में हार से कांगे्रस और आप बैकफुट पर

हरियाणा में पराजय के बाद आप और कांग्रेस बैकफुट पर हैं। दोनों दलों के कार्यकर्ता प्रदेश में जीत की पक्की उम्मीद लगाए बैठे थे। साथ ही एग्जिट पोल में भी कांग्रेस को प्रचंड बहुमत मिलता दिख रहा था। और तो और, कुल शुरुआती रुझानों में कांगे्रस 70 सीटों तक पहुंचती दिख रही थी, मगर 10 बजे एकदम बड़ा उलटफेर हो गया और बीजेपी शाम तक 90 में से 48 सीटें जीत गई। कांग्रेस केवल 37 सीटों तक ही सिमटकर रह गई। 5 अन्य के खाते में गई।

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