Birth Anniversary Of Rishi Dayanand : हवन यज्ञ इस संसार का सबसे उत्तम और श्रेष्ठ कार्य : सत्यवान मलिक

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Birth Anniversary Of Rishi Dayanand
Aaj Samaj (आज समाज), पानीपत : आर्य बाल भारती पब्लिक स्कूल जीटी रोड पानीपत में विद्यालय के प्रधान रणदीप कादियान के दिशा निर्देश से प्राचार्य सत्यवान मलिक की अध्यक्षता में सभी अध्यापक एवं अध्यापिकाओं ने प्रातः हवन यज्ञ करके ऋषि दयानंद की जयंती मनाई। प्राचार्य सत्यवान मलिक ने बताया कि हवन यज्ञ इस संसार का सबसे उत्तम और श्रेष्ठ कार्य है। हम सब ऋषि दयानंद के जन्मदिवस पर संकल्प लें की जो कार्य हमें मिला है, हम उसे पूर्ण रूप से लगन और उत्साह के साथ करते रहे। हम सब वेदों की राहों पर चलते रहे प्रत्येक व्यक्ति को गायत्री मंत्र और ओम का उच्चारण करना चाहिए। ज्योति दहिया अध्यापिका ने ऋषि दयानंद की महिमा पर एक भजन प्रस्तुत किया।
इसके बाद नीलम रानी ने परमपिता परमात्मा की महिमा का भजन सुनाया इसके बाद संदीप शर्मा संगीत अध्यापक ने ऋषि दयानंद का भजन प्रस्तुत किया। इसके बाद विद्यालय के डीपीई जगदीश चहल ने ऋषि दयानंद के जीवन चरित्र पर व्याख्यान दिया। उन्होंने कहा कि ऋषि दयानंद ने लिखा है मैंने यह आर्य समाज रूपी एक उद्यान लगाया है, इसमें मेरी स्थिति एक माली की तरह है पेड़ पौधों में पानी खाद मिट्टी डालते समय माली के सिर पर कुछ गिर जाया करता है, लेकिन मुझे इसकी परवाह नहीं लेकिन यह आर्य समाज उद्यान अर्थात बाग हमेशा हरा भरा रहना चाहिए ऋषि दयानंद एक ऐसे योगी तपस्वी सन्यासी थे जिन्होंने वेदों की ओर लोटो अभियान चलाया और हमें वैदिक धर्म के बारे में बताया। जगदीश डीपीई ने बताया कि संसार योगी हुए तपस्वी हुए साधु हुए संत हुए गोभक्त हुए राष्ट्रभक्त हुए लेकिन ऋषि जैसा सच्चा साधु सन्यासी कोई नहीं था, जिन्होंने पाखंड की पताका को उखाड़ फेंका और वैदिक धर्म को आगे बढ़ाया।