छात्र संगठनों ने दी आंदोलन तेज करने की चेतावनी
Chandigarh News (आज समाज), चंडीगढ़ : पंजाब यूनिवर्सिटी में सीनेट चुनाव कराने की मांग बुलंद होती जा रही है। एक तरफ जहां छात्र संगठन चुनाव कराने की मांग को लेकर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं वहीं सीएम भगवंत सिंह मान ने भी केंद्र सरकार पर गंभीर आरोप लगाए है। सीएम ने उपराष्टÑपति को पत्र लिखकर सीनेट चुनाव जल्द से जल्द कराने की मांग की है। दूसरी तरफ प्रदेश के अन्य राजनीति दल भी इस मुद्दे पर केंद्र सरकार को घेरते हुए सीनेट चुनाव कराने की मांग कर चुके हैं।
छात्रों पर पुलिस लाठी चार्ज के बाद मामला बिगड़ा
सीनेट चुनाव कराने के लिए छात्र संगठनों का आंदोलन पिछले करीब 25 दिन से चल रहा है। गत दिवस आंदोलन उस समय गर्मा गया जब मुख्यमंत्री भगवंत मान के दौरे के दौरान उन्हें मिलने से रोक दिया गया। दरअसल, छात्रों की योजना थी कि वे मुख्यमंत्री को अपनी मांगों और विश्वविद्यालय में सीनेट चुनावों की जरूरत के बारे में अवगत कराएं, लेकिन जब उन्होंने इस कोशिश में आगे बढ़ना चाहा, तो सुरक्षाबलों ने उन पर लाठीचार्ज कर दिया।
पुलिस द्वारा किए गए इस लाठीचार्ज में कई छात्र घायल हो गए। छात्रों ने यह भी आरोप लगाया है कि यूनिवर्सिटी प्रशासन और सरकार जानबूझकर चुनावों में देरी कर रही है ताकि वे मनमानी कर सकें और छात्रों की आवाज को अनदेखा कर सकें। पिछले 24 दिनों से छात्र पंजाब यूनिवर्सिटी के कैंपस में धरने पर बैठे हैं, लेकिन अब तक उनकी मांगों पर कोई ठोस प्रतिक्रिया नहीं आई है।
वहीं यूनिवर्सिटी प्रशासन ने छात्रों के प्रदर्शन और लाठीचार्ज की घटना पर बयान जारी करते हुए कहा कि वे छात्रों की मांगों के प्रति संवेदनशील हैं और उनकी चिंताओं को जल्द सुलझाने का प्रयास किया जाएगा। हालांकि, प्रशासन ने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री की सुरक्षा के कारण छात्रों को उनसे मिलने नहीं दिया गया।
पंजाब यूनिवर्सिटी से हमारा भावनात्मक रिश्ता : सीएम
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने कहा कि पंजाब यूनिवर्सिटी, चंडीगढ़ राज्य की भावनात्मक, सांस्कृतिक, साहित्यिक और समृद्ध विरासत का हिस्सा रही है। उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी की स्थापना से अब तक हर चार साल बाद इसकी सीनेट का गठन किया जाता है और इसके सदस्यों का चुनाव लोकतांत्रिक प्रक्रिया के माध्यम से किया जाता है।
भगवंत सिंह मान ने कहा कि हैरानी की बात है कि इस साल सीनेट के चुनाव नहीं कराए गए जबकि पिछले छह दशकों से ये चुनाव नियमित रूप से निर्धारित वर्ष के अगस्त-सितंबर महीनों में कराए जाते रहे हैं। पंजाब यूनिवर्सिटी, चंडीगढ़ में तुरंत सीनेट चुनाव कराने के लिए भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ से हस्तक्षेप की मांग की है।
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