Amit Shah In Jammu, (आज समाज), जम्मू: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा है कि जब तक जम्मू-कश्मीर में पूरी तरह शांति बहाल नहीं होगी तब तक पाकिस्तान से कोई बातचीत नहीं होगी। जम्मू के पलौरा में आज पहली चुनावी रैली को संबोधित करते हुए अमित शाह ने यह बात कही। उन्होंने इस दौरान नेशनल कांफ्रेंस (नेकां) और कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा।
पाक बॉर्डर पर दोबारा ट्रेड शुरू करना चाहते हैं कांग्रेस-नेकां
गृह मंत्री ने इन दोनों दलों पर कश्मीर में फिर आतंक फैलाने का आरोप लगाया। अमित शाह ने कहा कि कांग्रेस और नेकां का गठबंधन नियंत्रण रेखा (भारत-पाकिस्तान बार्डर) पर दोबारा ट्रेड शुरू करना चाहता है और उसका पैसा आतंकियों के मददगारों तक पहुंचेगा। नतीजा यह होगा कि इलाके में फिर अशांति आएगी। गृह मंत्री ने हालांकि दावा किया कि बीजेपी सरकार के रहते ऐसा संभव नहीं हो पाएगा। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि कांग्रेस जेलों में बंद पत्थरबाजों और आतंकी गतिविधियों में लिप्त लोगों को छुड़वाना चाहती, ताकि आतंक फिर से फैले।
जो चीज हमने दे दी वही कांग्रेस-नेकां मांग रहे
अमित शाह ने रैली के दौरान यह भी कहा कि मैंने खुद सदन में कहा है कि चुनाव के बाद हम जम्मू-कश्मीर को स्टेट का दर्जा देंगे। उन्होंने बताया कि जो चीज हमने दे दी है, वही चीज कांग्रेस और नेकां मांग रहे हैं। ये लोग कश्मीर की जनता को मूर्ख बना रहे हैं। अमित शाह ने कहा, मैं राहुल बाबा और अब्दुल्ला साहब से पूछना चाहता हूं कि आप जम्मू कश्मीर को स्टेट का दर्जा कैसे वापस देंगे?
हम दलितों के आरक्षण को छूने नहीं देंगे
गृह मंत्री ने रैली में मौजूद लोगों से कहा, यह संयोग है कि बीजेपी की पहली चुनावी रैली गणेश चतुर्थी के दिन शुरू हो रही है। उन्होंने कहा, मैं राहुल गांधी से एक बात कहना चाहता हूं कि आप चाहे जितना प्रयास कर लें, हम गुज्जर, बकरवाल, पहाड़ी और दलितों के आरक्षण को छूने नहीं देंगे। उन्होंने दोहराया कि जब तक कश्मीर में शांति नहीं होगी, पाकिस्तान से कोई बातचीत नहीं होगी।
कश्मीर में ऐतिहासिक होगा चुनाव
अमित शाह ने कहा, जम्मू कश्मीर में आने वाला चुनाव एक ऐतिहासिक चुनाव है, क्योंकि देश की आजादी के बाद पहली बार यहां के लोग दो झंडे नहीं, एक तिरंगे के नीचे अपना वोट डालेंगे। पहली बार, दो संविधान नहीं, भारत के संविधान (जिसको बाबा साहेब अंबेडकर ने बनाया) के अंतर्गत कश्मीर में मतदान होने जा रहा है।
370 हटने से लोगों को 70 साल बाद मिला उनका अधिकार
हैं। गृह मंत्री ने कहा कि अनुच्छेद-370 हटने से 70 साल के बाद जम्मू कश्मीर की माताओं-बहनों को अधिकार मिला है। कांग्रेस और नेकां यह अधिकार छीनना चाहते हैं। पत्थरबाजों और आतंकवाद में संलिप्त लोगों को जेल से छुड़वाकर ये लोग जम्मू, पुंछ, राजौरी जैसे क्षेत्रों में जहां इस समय शांति है, वहां फिर से आतंकवाद फैलाना चाहते हैं। अमित शाह ने कहा, हमने घर-घर जाकर कांग्रेस और नेकां के विभाजनकारी एजेंडे के प्रति लोगों को जागरूक किया है।
तीन चरणों में होना है मतदान
बता दें कि जम्मू-कश्मीर में 90 सदस्यीय विधानसभा के लिए तीन चरणों में मतदान होगा। पहले चरण का मतदान 18 सितंबर को होना है, जबकि अन्य दो चरण 25 सितंबर और 1 अक्टूबर को होंगे। मतगणना हरियाणा के साथ 8 अक्टूबर को होगी।