US-China Business War : मात्र चीन तक सिमटी अमेरिका की टैरिफ नीति

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US-China Business War : मात्र चीन तक सिमटी अमेरिका की टैरिफ नीति
US-China Business War : मात्र चीन तक सिमटी अमेरिका की टैरिफ नीति

पूरे विश्व के देशों को छोड़कर चीन पर लागू कर दी गई नई टैरिफ दरें, टैरिफ वार का खतरा बरकरार

US-China Business War (आज समाज), बिजनेस डेस्क : पूरे विश्व के लिए परेशानी का कारण बनी अमेरिका की टैरिफ नीति अब मात्र चीन तक ही सिमटती दिखाई दे रही है। एक तरफ तो आकड़ों इस बात को बयान कर रहे हैं कि अमेरिका ने विश्व के 75 देशों के खिलाफ टैरिफ नीति को 90 दिन तक रोकने की घोषणा के साथ ही चीन पर 125 प्रतिशत की दर से टैरिफ तत्काल प्रभाव से लागू करने का फैसला किया है। वहीं व्हाइट हाउस से इस तरह का बयान भी आया है कि अमेरिका आने वाले दिनों में चीन के खिलाफ और भी ज्यादा सख्त कदम उठाएगा।

चीन के खिलाफ कार्रवाई तेज करेंगे राष्ट्रपति ट्रंप

ट्रंप के गैर चीनी मुल्कों पर टैरिफ स्थगन की विस्तृत जानकारी अभी साझा नहीं की गई है। वहीं, ट्रेजरी सचिव स्कॉट बेसेंट ने पत्रकारों से कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप ने अपने सबसे बड़े व्यापारिक साझेदारों पर लगाए गए पारस्पारिक टैरिफ को 90 दिनों के लिए रोक दिया है। हालांकि उन्होंने लगभग सभी वैश्विक आयात पर दस फीसदी टैरिफ बनाए रखा है। वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि ट्रंप चीन के खिलाफ अपनी कार्रवाई को और तेज करेंगे।

दोनों देशों के बीच गहराया व्यापार युद्ध का खतरा

अमेरिका और चीन के बीच जारी व्यापार युद्ध लगातार गहराता जा रहा है। चीन ने आज अमेरिका पर 84 फीसदी का जवाबी टैरिफ लगाया था। जिसके बाद राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने फिर से चीन के खिलाफ टैरिफ को बढ़ा दिया है। ट्रंप ने चीन के खिलाफ टैरिफ को बढ़ाकर 125 फीसदी कर दिया है। वहीं, 75 देशों को 90 दिनों तक टैरिफ में राहत देने का भी एलान किया है। ट्रंप ने कहा, ‘चीन ने दुनिया के बाजारों के प्रति सम्मान नहीं दिखाया है। इसके मद्देनजर मैं अमेरिका की ओर से चीन पर लगाए गए टैरिफ को 125 फीसदी तक बढ़ा रहा हूं, जो तत्काल प्रभाव से लागू होगा।

उम्मीद है कि चीन भविष्य में इस बात को समझेगा कि अब वह अमेरिका और अन्य देशों से धोखाधड़ी नहीं कर सकता। यह बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।’ उन्होंने आगे कहा, ‘इसके विपरीत, इस बात को ध्यान में रखते हुए कि 75 से अधिक देशों ने अमेरिका के व्यापार प्रतिनिधियों, वाणिज्य विभाग, ट्रेजरी विभाग से व्यापार, टैरिफ, मुद्रा हेरफेर और दूसरे व्यापार से जुड़े मुद्दों पर बातचीत के लिए कहा है।