Aaj Samaj (आज समाज), ADR Analysis Report, नई दिल्ली: देशभर में 44 फीसदी विधायकों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं। एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) के एक हालिया विश्लेषण में यह दावा किया गया है। इसके मुताबिक राज्य विधानसभाओं में लगभग 44 फीसदी विधायकों ने अपने खिलाफ आपराधिक मामलों की घोषणा की है। एडीआर और नेशनल इलेक्शन वॉच (एनईडब्ल्यू) द्वारा किए गए विश्लेषण में देशभर में राज्य विधानसभाओं और केंद्रशासित प्रदेशों में वर्तमान विधायकों के स्व-शपथ पत्रों की जांच की गई।

चुनावी हलफनामों के हवाले से एडीआर का खुलासा

यह डेटा चुनावी हलफनामों से एकत्रित किया गया था, जो हालिया चुनाव लड़ने से पहले विधायकों ने दायर किए थे। विश्लेषण में 28 राज्य विधानसभाओं और 2 केंद्र शासित प्रदेशों में सेवारत कुल 4,033 में से 4,001 विधायकों को शामिल किया गया है। जिस आधार पर एडीआर की रिपोर्ट सामने आई है। एडीआर के मुताबिक, विश्लेषण किए गए विधायकों में से 1,136 या लगभग 28 फीसदी ने अपने खिलाफ गंभीर आपराधिक मामलों की घोषणा की थी। जिसमें हत्या, हत्या की कोशिश, अपहरण और महिलाओं के खिलाफ अपराध से संबंधित आरोप शामिल हैं।

जानिए किस राज्य के कितने विधायकों ने घोषित किए हैं केस

महाराष्ट्र में 284 में से 175 विधायक (62 फीसदी), केरल में 135 में से 95 विधायकों यानी 70 फीसदी ने अपने खिलाफ क्रिमिनल केस घोषित किए हैं। वहीं दिल्ली में 70 में से 44 विधायक (63 फीसदी), बिहार में 242 विधायकों में से 161 (67 फीसदी), तमिलनाडु में 224 विधायकों में से 134 (60 प्रतिशत) और तेलंगाना में 72 विधायक 118 विधायकों (61 प्रतिशत) ने अपने ऐफिडेविट में स्वयं घोषित आपराधिक मामलों का जिक्र किया है।

इन्होंने की है खुद के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामलों की घोषणा

एडीआर के अनुसार जिन एमएलए ने खुद के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामलों की घोषणा की है उनमें ने महाराष्ट्र में 284 में से 114 विधायक (40 प्रतिशत), दिल्ली में 70 में से 37 विधायक (53 प्रतिशत), बिहार में 242 में से 122 विधायक (50 प्रतिशत), उत्तर प्रदेश में 403 में से 155 विधायकों (38 प्रतिशत), झारखंड में 79 में से 31 विधायक 39 प्रतिशत और तेलंगाना में 118 में से 46 विधायकों (39 प्रतिशत) ने अपने खिलाफ गंभीर आपराधिक मामलों की घोषणा की थी।

महिलाओं के खिलाफ भी आपरधिक मामलों का जिक्र

एडीआर और एनईडब्ल्यू के इस विश्लेषण में महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामलों का भी जिक्र है। रिपोर्ट में कहा गया है कि 114 विधायकों ने महिलाओं के खिलाफ अपराध से संबंधित मामलों की घोषणा की है, जिनमें से 14 ने अपने खिलाफ आईपीसी धारा 376 के मामलों की घोषणा की। विश्लेषण में आपराधिक रिकॉर्ड के अलावा विधायकों की संपत्ति की भी जांच की गई। राज्य विधानसभाओं में प्रति विधायक औसत संपत्ति 13.63 करोड़ रुपये आंकी गई। हालांकि, घोषित आपराधिक मामलों वाले विधायकों की औसत संपत्ति 16.36 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि बिना आपराधिक मामलों वाले विधायकों की औसत संपत्ति 11.45 करोड़ रुपये आंकी गई।

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