शिक्षकों की विभिन्न श्रेणियों के भरे जाएंगे 4000 पद

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शिमला में वर्ष 2050 तक पानी की मांग को पूरा करने के लिए सतलुज नदी से होगी अतिरिक्त 67 एमएलडी जल आपूर्ति
हिमाचल प्रदेश मंत्रिमंडल की बैठक में लिए गए कई अहम निर्णय
लोकिन्दर बेक्टा, शिमला:
प्रदेश सरकार ने राज्य के बेरोजगारों के लिए नौकरी का पिटारा खोला है। प्रदेश मंत्रिमंडल ने शिक्षकों की विभिन्न श्रेणियों के 4000 पदों को भरने का निर्णय लिया है। वहीं, राजधानी शिमला में पेयजल व्यवस्था और मल निकासी को लेकर विश्व बैंक के साथ समझौता पैकेज को अंतिम स्वीकृति दी है। इसके तहत शिमला शहर में वर्ष 2050 तक पानी की मांग को पूरा करने के लिए सतलुज नदी से अतिरिक्त 67 एमएलडी के साथ शिमला जल आपूर्ति में संवर्द्धन, विशेष क्षेत्र विकास प्राधिकरण कुफरी, शोघी, घणाहट्टी और अतिरिक्त योजना क्षेत्र के लिए पेयजल व्यवस्था सुदृढ़ होगी। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में मंगलवार को यहां हुई कैबिनेट की बैठक में इन फैसलों को मंजूरी दी गई। बैठक के दौरान राज्य में कोविड-19 की स्थिति और संभावित तीसरी कोरोना लहर से प्रभावी ढंग से निपटने की तैयारियों पर भी प्रस्तुति दी गई।
ड्राइंग शिक्षकों के 820, शारीरिक शिक्षा अध्यापकों के 870 पदों को भरेगी सरकार
बैठक में शिक्षा विभाग में ड्राइंग शिक्षकों के 820 पदों और शारीरिक शिक्षा अध्यापकों के 870 पदों सहित शिक्षकों की विभिन्न श्रेणियों के 4000 पदों को भरने का निर्णय लिया गया। विद्यार्थियों को उनके घर के निकट गुणवत्तापूर्ण शिक्षा सुनिश्चित करने के लिए इन 4000 पदों में से 2640 पद प्रारम्भिक शिक्षा विभाग में, जबकि 1360 पद उच्चतर शिक्षा विभाग में अनुबंध आधार पर भरे जाएंगे। बैठक में फैसला किया गया कि शिक्षकों के विभिन्न पद बैच आधार पर शीघ्रता से भरे जाएंगे।
मंत्रिमंडल ने शहरी विकास विभाग द्वारा विश्व बैंक और भारत सरकार के वित्त मंत्रालय के आर्थिक मामलों के विभाग के साथ नेगोशिएशन पैकेज के प्रारूप को मंजूरी दी, ताकि ग्रेटर शिमला क्षेत्र में जलापूर्ति योजना सेवाओं में सुधार के लिए शिमला जलापूर्ति एवं सीवरेज सेवा वितरण कार्यक्रम के वित्तपोषण के लिए विश्व बैंक के माध्यम से 250 मिलियन डॉलर (1813 करोड़ रुपए) का वित्त पोषण किया जा सके। कुल 250 मिलियन डॉलर में से विश्व बैंक 160 मिलियन डॉलर (1160.32 करोड़ रुपए) की वित्तीय सहायता प्रदान करेगा और शेष राशि 90 मिलियन डॉलर (652.68 करोड़ रुपए) का वहन हिमाचल सरकार द्वारा किया जाएगा। बैठक में प्रधान सचिव, शहरी विकास विभाग को विश्व बैंक के साथ समझौता पैकेज को अंतिम रूप प्रदान करने और हस्ताक्षर करने के लिए अधिकृत किया गया। इस पैकेज में शिमला जल आपूर्ति और मल निकासी परियोजना के मुख्य उद्देश्य वर्ष 2050 तक पानी की मांग को पूरा करने के लिए सतलुज नदी से अतिरिक्त 67 एमएलडी के साथ शिमला जल आपूर्ति में संवर्द्धन, विशेष क्षेत्र विकास प्राधिकरण कुफरी, शोघी, घणाहट्टी और अतिरिक्त योजना क्षेत्र के लिए 2050 तक शिमला नगर निगम क्षेत्र में सभी घरेलू और व्यवसायी उपभोक्ताओं के लिए सप्ताह भर 24 घंटे जलापूर्ति और शिमला नगर निगम क्षेत्र में बेहतर मल निकासी सेवाएं प्रदान करना है।
इस परियोजना में शिमला जिले की सुन्नी तहसील के शकरोड़ी गांव के पास सतलुज नदी से पानी उठाने की योजना बनाई गई है जिसमें संजौली में 1.6 किलोमीटर की ऊंचाई तक उठाने और 22 कि.मी की पाइप बिछाने से 67 एमएलडी पानी की वृद्धि शामिल है। इस परियोजना के अन्तर्गत नगर निगम शिमला में वितरण पाइप नेटवर्क को सप्ताह भर 24 घंटे जलापूर्ति प्रणाली में स्तरोनन्त करने का भी प्रावधान है। इसके अतिरिक्त, शिमला के मैहली, पंथाघाटी, टूटू और मशोबरा क्षेत्रों में मल निकासी प्रणाली प्रदान की जाएगी। यह राज्य के लिए एक प्रमुख परियोजना होगी जो शिमला में बेहतर जलापूर्ति और मल निकासी प्रणाली प्रदान करने का प्रयास करेगी और वर्ष 2050 तक शहर की आवश्यकताओं को पूरा करेगी। हिमाचल प्रदेश सरकार का शहरी विकास विभाग कोविड-19 के कारण उत्पन्न वित्तीय बाधाओं के बावजूद विश्व बैंक और वित्त मंत्रालय से इस निधि को प्राप्त करेगा।
एनपीएस में आने वाले शहरी स्थानीय निकाय कर्मियों को भी मिलेगा सेवानिवृत्ति एवं मृत्यु ग्रेच्युटी का लाभ
मंत्रिमंडल ने सैद्धान्तिक रूप से नई पेंशन योजना के तहत आने वाले शहरी स्थानीय निकायों के कर्मचारियों को सेवानिवृत्ति एवं मृत्यु ग्रेच्युटी का लाभ देने का निर्णय भी लिया। मंत्रिमंडल ने जिला मंडी के चुराग में नया विकास खंड कार्यालय को खोलने की मंजूरी प्रदान की। बैठक में जिला मंडी के सिराज विधानसभा क्षेत्र के बगस्याड़ में अटल आदर्श विद्यालय खोलने की स्वीकृति भी की गई। बैठक में जिला बिलासपुर की सदर तहसील के लाड़ाघाट में नए औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान खोलने को स्वीकृति प्रदान की। वहीं कैबिनेट ने बिलासपुर, हमीरपुर, रिकांगपिओ और नाहन के एडीआर केन्द्रों के लिए अनुबंध आधार पर सीधी भर्ती के माध्यम से आशुलिपिकों के चार पद सृजित करने की स्वीकृति प्रदान की। जेबीटी के रिक्त पदों पर जेबीटी के समकक्ष योग्यता वाले 24 गैर-आवासीय विशेष प्रशिक्षण शिक्षकों की अनुबंध आधार पर नियुक्ति का भी निर्णय लिया।
ये भी लिए गए निर्णय
मंत्रिमंडल ने मंडी में प्रारम्भिक शिक्षा खंड बल्ह और सुंदर नगर-1 को अलग कर सलवाहन में नया प्रारंभिक शिक्षा खंड कार्यालय सृजित करने की स्वीकृति प्रदान की। चम्बा के राजकीय माध्यमिक पाठशाला दारवीं को राजकीय उच्च पाठशाला और राजकीय उच्च पाठशाला लामू और बडग्रां को राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला में स्तरोन्नत करने के साथ इन स्कूलों के सुचारू संचालन के लिए विभिन्न श्रेणियों के 16 पद भरने की स्वीकृति प्रदान की गई।
कैबिनेट ने जिला मंडी के करसोग क्षेत्र में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बलधार को 30 बिस्तरों की क्षमता वाले सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में स्तरोन्नत करने के साथ विभिन्न श्रेणियों के तीन पद सृजित करने की मंजूरी प्रदान की। बैठक में जिला कांगड़ा में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रक्कड़ को 24 घंटे सेवाएं प्रदान करने वाले आपातकालीन चिकित्सा संस्थान के रूप में स्तरोन्नत करने की स्वीकृति प्रदान की। कैबिनेट ने आईजीएमसी शिमला के चम्याणा में निमार्णाधीन सुपरस्पेशलिटी ब्लॉक के ब्लड बैंक, शवगृह, जैव चिकित्सा कचरा प्रबंधन स्थान और कैंटीन तथा कैफेटेरिया के लिए अतिरिक्त भवन के निर्माण कार्य को एचएससीसी प्राइवेट इंडिया लिमिटेड को सौंपने का निर्णय लिया, जिसके लिए स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग और कार्यान्वयन करने वाली एजेंसी के मध्य समझौता ज्ञापन हस्ताक्षरित किया जाएगा।

फोटो कैप्शन
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर शिमला में कैबिनेट बैठक की अध्यक्षता करते हुए। आज समाज