आज समाज डिजिटल, चंडीगढ़:
एक हजार करोड़ रुपये से अधिक के मशीनरी सब्सिडी के घोटाले में कृषि विभाग ने राज्य सरकार को रिपोर्ट सौंप दी है। इसमें खुलासा है कि 20 जिलों में 11 फीसद मशीनरी लापता है। करीब 100 करोड़ की मशीनरी का तो कहीं अता-पता तक नहीं। यदि बात करें सूत्रों की तो तीन जिले अब तक रिपोर्ट जमा करने में असफल रहे हैं। जहां लापता मशीनरी की संख्या सबसे अधिक है।
अब तक आ रही ये रिपोर्ट
एक मीडिया हाउस की रिपोर्ट के अनुसार राज्य सरकार ने केंद्र की सब्सिडी के साथ पूरे राज्य में खरीदी मशीनों में से प्रत्येक के आॅडिट और भौतिक सत्यापन का आदेश था। अधिकारियों को लाभार्थी का नाम, गांव का नाम, किसान को मिलने वाली सब्सिडी की राशि, किसान का आधार नंबर और मशीन का विवरण सहित विवरण प्रस्तुत करने के लिए कहा गया था। अधिकारियों को यह जांचने के लिए कहा था कि मशीन जमीन पर मौजूद थी या नहीं, इसके सत्यापन 15 दिनों के भीतर पूरा किया जाए।
20 जिलों में ये जिले हैं शामिल
20 जिलों की रिपोर्ट के अनुसार 11 फीसद मशीनों का पता नहीं लग पा रहा है। इन जिलों में फरीदकोट, फिरोजपुर, अमृतसर और गुरदासपुर, फाजिल्का और बठिंडा शामिल हैं। गौरतलब है कि पराली जलाने पर नियंत्रण के लिए केंद्र सरकार ने फसल अवशेष प्रबंधन योजना के तहत किसानों को मशीनरी खरीदने के लिए चार साल (2018-19 से 2021-22) में 1,178 करोड़ की सब्सिडी प्रदान की थी। हालांकि आरोप है कि अधिकारियों ने सब्सिडी की राशि का गबन कर लिया है। यहां उल्लेखनीय है कि पिछली कांग्रेस सरकार समय पर कार्रवाई करने में विफल रही थी और यह घोटाला अगले तीन वर्षों तक जारी रहा। जब इस मामले को तूल दिया गया तो पिछली सरकार ने इसे छिपाने की कोशिश की। इसी वजह से राज्य को सब्सिडी तो मिली, लेकिन बड़ी संख्या में कृषि मशीनरी बैंक केवल कागजों पर ही रह गए।
ये भी पढ़ें : यादव धर्मशाला में आयोजित शिविर में 182 मरीजों के नेत्रों की हुई जांच
ये भी पढ़ें : बेटी के जन्म पर कुंआ पूजन कर दिया बेटी बचाओ का संदेश
ये भी पढ़ें : 30वीं जिला बैडमिंटन एसोसिएशन ऑफ़ इंडिया प्रतियोगिता का दूसरा दिन
ये भी पढ़ें : राहत: रेलवे चलाएगा 205 स्पेशल ट्रेनें, ये है समय और रूट
ये भी पढ़ें : रोहतक पुलिस ने चलाया नाइट डोमिनेशन अभियान
ये भी पढ़ें : 30वीं जिला बैडमिंटन प्रतियोगिता के तीसरे दिन भी खिलाड़ियों ने बहाया पसीना
Connect With Us: Twitter